सत्तापक्ष से जुड़े दलों ने सरकार से की ये मांग, सर्वदलीय बैठक के बाद संजय सिंह बोले, ‘देश के अलग-अलग

पहलगाम आतंकी हमले पर बुलाई सर्वदलीय बैठक में आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह ने हिस्सा लिया. बैठक के बाद मीडिया से बातचीत में उन्होंने कहा कि सरकार से ये मांग की गई है कि पाकिस्तान द्वारा समर्थित आतंकवाद के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाए. उन्होंने दावा किया कि सत्तापक्ष से जुड़े दलों ने इसकी मांग की कि सोशल मीडिया पर नफरत फैलान की कोशिश पर रोक लगे.

‘आतंकवादियों को उन्हीं की भाषा में जवाब दें’

संजय सिंह ने कहा, “पूरा देश गुस्से में है नाराजगी में है आक्रोश में है. देश का हर नागरिक ये चाहता है कि भारत की सरकार आतंकवादियों को उन्हीं की भाषा में जवाब दे. जैसे उन्होंने हमारे निहत्थे निर्दोष लोगों की हत्या की है, निहत्थे निर्दोष पर्यटकों को मारा है, उसी की भाषा में आतंकवादियों का समूल नाश होना चाहिए. उनको बर्बाद किया जाए. उनके कैंप्स बर्बाद किए जाएं और जहां से संचालित हो रहा है, पाकिस्तान से, उस पाकिस्तान के खिलाफ भी आप कार्रवाई करिए, ऐसा सबने एक मत से आज सर्वदलीय बैठक में सरकार के सामने अपनी बात रखी.”

पीएम मोदी की गैरमौजूदगी पर उठे सवाल- संजय सिंह का दावा

आप सांसद ने आगे कहा, “दूसरा विषय, इतनी गंभीर और संवेदनशील बैठक थी. सुरक्षा के मुद्दे पर बैठक थी तो हमारी अपेक्षा थी कि प्रधानमंत्री जी संभवत: इस मीटिंग में जरूर रहेंगे. लेकिन उनको बिहार का कार्यक्रम ज्यादा महत्वपूर्ण लगा और इस बैठक में आना महत्वपूर्ण नहीं लगा. ये भी सवाल कई सदस्यों ने सर्वदलीय बैठक में उठाए.”

‘बिना सुरक्षा एजेंसी की जानकारी के जगह को खोला गया’

संजय सिंह ने ये भी कहा, “इसके अलावा एक महत्वपूर्ण जानकारी सामने आई. वो हास्यास्पद भी है और महत्वपूर्ण भी है. 22 अप्रैल की ये घटना है. 20 अप्रैल से वो स्थान बगैर सुरक्षा एजेंसियों की जानकारी के प्रारंभ कर दिया. यानी कि ये जानकारी दी गई कि पहले वहां पर सिर्फ अमरनाथ यात्रा के दौरान पर्यटक जाते थे. लेकिन 20 अप्रैल को बिना किसी सुरक्षा एजेंसी की जानकारी के वो स्थान खोल दिया गया. एक स्थान पर हजार, पांच सौ, दो हजार लोग जा रहे हैं उसमें पुलिस को जानकारी नहीं, सेना को जानकारी नहीं, सीआरपीएफ को जानकारी नहीं, हमारी खूफिया एजेंसियों को जानकारी नहीं और आतंकवादी आते हैं और मारकर चले जाते हैं.”

मीडिया से बातचीत में उन्होंने कहा कि इसमें सुरक्षा की एक बहुत बड़ी खामी सामने आई है. हमलोगों ने मांग की है कि इसकी अकाउंटेबिलिटी फिक्स होनी चाहिए और इस पर कार्रवाई होनी चाहिए कि इतना बड़ा सिक्योरिटी लैप्स कैसे हुआ? 

सत्ता पक्ष के साथ जुड़े दलों ने क्या मांग की?

सिक्योरिटी लैप्स पर सरकार ने क्या जवाब दिया, इस पर संजय सिंह ने कहा, “वहीं परंपरागत और गोलमोल जवाब था.” उन्होंने बताया, “इसके साथ ही ये बात रखा है सदस्यों ने जिसमें सत्ता पक्ष के साथ जुड़े भी कई दल थे कि जिस प्रकार इस घटना के बाद से सोशल मीडिया के जरिए देश के अलग-अलग हिस्सों में देश में नफरत फैलाने की कोशिश की जा रही है, उस पर रोक लगाई जाए. देश में शांति और अमन के साथ पाकिस्तान द्वारा पोषित और समर्थित आतंकवाद को सख्त से सख्त जवाब दिया जाए.” 


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